पटना: आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने हाल ही में बयान दिया था कि भारत को असली आजादी 2024 में तब मिली जब राम मंदिर में रामलला की प्रतिमा स्थापित हुई। उनके इस बयान ने बिहार में एक नया सियासी विवाद खड़ा कर दिया है। बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने मोहन भागवत पर तीखा हमला करते हुए उनसे पांच सवाल पूछे हैं।

तेजस्वी का हमला: RSS पर निशाना

तेजस्वी यादव ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर मोहन भागवत के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए लिखा, “अब मोहन भागवत जी का यह कहना भी बाकी रह गया है कि ‘दलितों-पिछड़ों का आरक्षण खत्म होगा तभी देश को असल मायनों में आजादी मिलेगी’। उनके इस बयान से देश के स्वतंत्रता सेनानियों, शहीदों और असंख्य देशभक्तों का अपमान हुआ है।”

तेजस्वी ने यह भी आरोप लगाया कि RSS के लोग स्वतंत्रता संग्राम में कभी भी सक्रिय नहीं रहे, और अब वे दूसरों के योगदान को घटित करने के लिए नए तरीके अपना रहे हैं। उन्होंने कहा, “RSS का संगठन अंग्रेजों का दलाल और मुखबिर था। उनका हमेशा से लक्ष्य दलितों-पिछड़ों और मेहनतकश वर्ग के योगदान को छोटा करना रहा है।”

तेजस्वी का सवाल: मोहन भागवत से 5 अहम सवाल

तेजस्वी यादव ने मोहन भागवत से पांच सवाल पूछे हैं, जिनमें प्रमुख हैं:

  1. “देश के बहुसंख्यक दलितों और पिछड़ों को असल आजादी कब मिलेगी?”
  2. “RSS के कर्ता-धर्ता बताए कि आज तक कोई दलित या पिछड़ा RSS का प्रमुख क्यों नहीं बना?”
  3. “महिला RSS प्रमुख क्यों नहीं बनी?”
  4. “जातिगत जनगणना कब होगी?”
  5. “दलितों और पिछड़ों का आरक्षण उनकी आबादी के अनुपात में कब बढ़ेगा?”

तेजस्वी का आर्थिक मुद्दा: ध्यान देने की बात

तेजस्वी ने आगे कहा कि मोहन भागवत जी को देश के आर्थिक संकट पर भी ध्यान देना चाहिए, क्योंकि डॉलर के मुकाबले रुपया ऐतिहासिक रूप से निचले स्तर पर पहुंच चुका है।

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