थाने में एफआईआर दर्ज कराते तेजस्वी

पटना डेस्क: दरभंगा में पत्रकार पर हमले के बाद विपक्ष के हाथ एक बड़ा मुद्दा लग गया है। या यूं कहें कि बिहार के चुनावी समर में इस घटना ने सियासी पारा चढ़ा दिया है। नेता आरजेडी बिहार की एनडीए सरकार पर हमलावर हो चुकी है। नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव दरभंगा जिले के सिंहवाड़ा पहुंचे और पीड़ित पत्रकार दलीप कुमार सहनी उर्फ दिवाकर के घर जाकर मुलाकात की और घटना की पूरी जानकारी ली। इस दौरान पीड़ित पत्रकार ने तेजस्वी यादव को बताया कि जब मंत्री जीवेश मिश्रा से खराब सड़क को लेकर सवाल किया तो वो आपे से बाहर हो गए। इतना ही नहीं मंत्री जीवेश मिश्रा ने भद्दी-भद्दी गालियां दीं और हमला कर दिया। पीड़ित पत्रकार ने बताया कि मंत्री जीवेश मिश्रा और उनके सहकर्मी उसे जबरन गाड़ी में डाल रहे थे। दरभंगा पहुंचे तेजस्वी यादव ने ऐलान किया है कि मंत्री जीवेश मिश्रा को तत्काल गिरफ्तार किया जाए नहीं तो चक्का जाम किया जाएगा।

तेजस्वी ने सोशल मीडिया पर लिखा
नकली दवा बेचने वाले बिहार सरकार में बीजेपी के भ्रष्ट दवा चोर मंत्री जीवेश मिश्रा ने अतिपिछड़ा समाज के निष्पक्ष पत्रकार दिवाकर सहनी जी को मां-बहन की गाली देकर उनके साथ मंत्री ने स्वयं जानलेवा मारपीट की। बाद में पत्रकार को धमकी दी, उनका मेडिकल नहीं होने दिया, FIR तक दर्ज नहीं होने दी। पत्रकार साथी को लेकर स्वयं सिंघवाडा थाने पहुँचा और जनता के साथ गुंडागर्दी करने वाले मंत्री मिश्रा जी के ख़िलाफ़ FIR दर्ज कराई। किसी भी बिहारी के खिलाफ अन्याय और अत्याचार किसी भी कीमत पर सहन नहीं करूँगा अत्याचारी चाहे कोई भी हो। पत्रकार की मां क्या मां नहीं है जिन्हें यह अमर्यादित मंत्री गाली दे रहा है?

तेजस्वी की पहल पर एफआईआर दर्ज
तेजस्वी यादव ने मीडिया को बताया कि हमारी पहल के बाद एफआईआर दर्ज की गई, आप सोच सकते है कि बिहार में अराजकता किस हिसाब से फैली हुई है। तेजस्वी याद ने आगे कहा कि 2005 से पहले पत्रकारों को गाली देकर नहीं पीटा जाता था। तेजस्वी ने कहा कि पत्रकार दिवाकर सहनी के साथ अटेंप्ट टू मर्डर, किडनैपिंग और गाड़ी में घसीट कर अंदर बैठने की कोशिश की गई, लात घुसे मारे गए। मां बहनों की गाली दी गई। यह कौन दे रहा है? संवैधानिक पद पर बैठा हुआ भाजपा का मंत्री दे रहा है। ऐसे ऐसे लोगों को मंत्री बना रखा है जो दवा चोरी के मामले में कोर्ट ने सजा सुनाई है। वैसे लोग मंत्री बने हुए हैं अब क्या उम्मीद कर सकते हैं, ऐसे लोग क्या बिहार का भला करेंगे?

पत्रकारों की सुरक्षा को प्राथमिकता
तेजस्वी यादव का यह कदम पत्रकारों की सुरक्षा, कानून का पालन और सरकार पर दबाव बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण संदेश के रूप में देखा जा रहा है। नेता प्रतिपक्ष के इस कदम की चारों तरफ प्रसंशा हो रही है। वहीं, स्थानीय प्रशासन ने अभी तक इस घटना पर कोई आधिकारिक बयान जारी नहीं किया है। जनता और मीडिया इस पर नजर रखे हुए हैं कि सरकार किस तरह से प्रतिक्रिया देती है और क्या मंत्री जीवेश मिश्रा के खिलाफ कानूनी कार्रवाई होती है।

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